जयपुर में भी अपनाई जाएगी इंदौर की सफाई निति, सूखा-गीला कचरा अलग हो तभी होगा डोर-टू-डोर कचरा संग्रहण
By: Ankur Fri, 16 Oct 2020 3:46:05
सफाई को लेकर इंदौर लगातार कई सालों से सबसे साफ़ शहर में ऊपर रहा हैं. इसी के तर्ज पर अब जयपुर में डोर-टू-डोर कचरा संग्रहण की मौजूदा व्यवस्था में अहम बदलाव करते हुए उनकी सख्ती से पालना कराने की बात की जा रही है। इसके तहत आने वाले दिनों में हूपर उन्हीं स्थानों से डोर-टू-डोर कचरा संग्रहण करेंगे, जहां पर सूखा एवं गीला कचरा अलग-अलग कूड़ेदान में रखा गया हो। हालांकि, इसके लिए सबसे पहले लोगों को अवेयर करेंगे। उनको समझाएंगे। फिर भी लोग नहीं मानें तो इसकी पालना सख्ती से कराई जाएगी।
तर्क गीले एवं सूखे कचरे का अलग-अलग उठाव होने से उसके निस्तारण में आसानी रहेगी। ताकि, स्वच्छता सर्वेक्षण में इंदौर की ही तरह डोर टू डोर कचरा संग्रहण केटेगरी में अच्छे अंक मिल सके। जयपुर शहर की स्वच्छता सर्वेक्षण में 28 वीं रैंकिंग आई है। डोर टू डोर कलेक्शन और कचरे का निस्तारण करने में निगम के अफसर फिसड्डी साबित हो रहे है। ऐसे में रैंकिंग में टॉप स्वच्छ शहरों में शामिल नहीं हो रहे है।
1400 टन कचरे का संग्रहण होता है प्रतिदिन औसतन
नगर निगम ने कचरा संग्रहण करने की जिम्मेदारी शहर में बीवीजी कंपनी को दे रखी है। शहर में पांच लाख घरों से कचरे का संग्रहण करने का कंपनी का टारगेट है। 520 से ज्यादा हूपर शहर में डोर टू डोर कचरे का संग्रहण करते है। कंपनी द्वारा निगम के आंकड़ों के अनुसार प्रतिदिन 1400 टन कचरे का संग्रहण किया जाता है। निगम द्वारा कंपनी को प्रति टन के हिसाब से करीब 1750 रुपए का भुगतान किया जाता है।
पहले जागरूक करेंगे और फिर सख्ती
नगर निगम जयपुर के हेल्थ उपायुक्त हर्षित वर्मा ने कहा कि लोगों को घर-घर जाकर हम गीला और सूखा कचरा अलग-अलग कूड़देान में रखने के लिए जागरूक करेंगे। ताकि कंपनी भी कचरे का संग्रहण अलग-अलग ही करे। जागरूक करने के बाद भी सुधार नहीं होगा तो सख्ती अपनाएंगे।
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